
चुनौतियों के बावजूद भारत विकास पथ पर – प्रोफेसर बीएन जुयाल
(विरेंद्र प्रताप उपाध्याय)
चौबेपुर (वाराणसी) चुनौतियों के बावजूद भारत ने पिछले कुछ सालों में विदेश नीति के क्षेत्र में अपनी स्थिति को प्रधानमंत्री श्री मोदी के नेतृत्व में मजबूत किया है। वर्तमान में भारत विश्व के लगभग सभी मंचों पर अपनी उपस्थिति दर्ज करा रहा है।
यह विचार आज प्रोफेसर बीएन जुयाल एजुकेशनल फाउंडेशन ट्रस्ट की वेबिनार श्रृंखला में विद्वानों ने व्यक्त किए। आरंभ में ट्रस्ट के अध्यक्ष शिक्षाविद्, लेखक डॉ अंबिका प्रसाद गौड़ ने स्वागत करते हुए संस्था के उद्देश्य को रेखांकित किया।
विषय स्थापना वरिष्ठ पत्रकार और साहित्यकार डॉ अत्रि भारद्वाज ने करते हुए कहा कि भारत को पारंपरिक और गैर पारंपरिक खतरों से बचाना जरूरी है। मुम्बई से जुड़े सिने इतिहासवेत्ता और लेखक डॉ राजीव श्रीवास्तव ने कहा कि ऐसा वातावरण बनाना चाहिए कि जो भारत के समावेशी विकास के लिए अनुकूल हो।आज वैश्विक मंचों पर भारत की आवाज सुनी जा रही है।
विदेश में रह रहे भारतीय प्रवासियों को जोड़ा जा रहा है, साथ ही उनके हितों की भी रक्षा की जा रही है। काशी विद्यापीठ के हिंदी विभाग के पूर्व अध्यक्ष प्रोफेसर श्रद्धानंद ने कहा कि दुनिया के अन्य देशों द्वारा खड़ी की गई समस्याएं वास्तव में भारत के लिए मुख्य बाधाएं नहीं हैं बल्कि विरोधियों द्वारा बनाई गई कई वैचारिक हठधर्मिता थी, जिसके कारण भारत अपने महत्व के साथ विश्वमंच पर नहीं आ पा रहा था। वैश्विक महामारी कोविड हो या कोई अन्य समस्या कूटनीति से भारत अपनी सकारात्मक भूमिका का निर्वहन कर रहा है।
धन्यवाद ज्ञापन करते हुए साहित्यकार डॉ देवेन्द्र कुमार सिंह ने कहा कि भारत ने अपनी जिजीविषा, मजबूत संकल्प और संघर्षों के बल पर अपना मुकाम हासिल किया है।