
पुंछ पहुंचे गृहमंत्री, ऑपरेशन सिंदूर में प्रभावित परिवारों से मिले, पाकिस्तान को चेताया
जम्मू। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह शुक्रवार को सेना के ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान पाकिस्तानी गोलाबारी से प्रभावित परिवारों से मिलने के लिए जम्मू-कश्मीर के पुंछ पहुंचे। उनके साथ उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, शीर्ष प्रशासनिक अधिकारी और वरिष्ठ सुरक्षा अधिकारी भी मौजूद थे। शाह ने प्रभावित परिवारों से मुलाकात कर संवेदना प्रकट की और उन्हें केंद्र सरकार की ओर से आर्थिक सहायता प्रदान की।
गृहमंत्री शाह ने स्पष्ट शब्दों में कहा, “7 मई की रात भारत ने पाकिस्तान और पीओके में स्थित आतंकी ठिकानों को ध्वस्त कर दिया। यह कार्रवाई आतंक के खिलाफ करोड़ों देशवासियों की भावना का उत्तर थी। इस ऑपरेशन में सैकड़ों आतंकी मारे गए। पाकिस्तान इसे खुद पर हमला मान बैठा, जिससे यह साफ हो गया कि वह आतंकियों का संरक्षक है।”
उन्होंने बताया कि पाकिस्तान की ओर से की गई गोलाबारी में सबसे ज्यादा नुकसान पुंछ जिले में हुआ, जहां 28 नागरिकों में से 14 लोग शहीद हुए। शाह ने कहा, “आजादी के बाद पहली बार पुंछ में इतनी भीषण फायरिंग हुई। पाकिस्तान ने रिहायशी इलाकों को निशाना बनाया, जिसकी पूरी दुनिया में निंदा हो रही है।”
गृहमंत्री ने बताया कि जवाबी कार्रवाई में भारतीय सशस्त्र बलों ने पाकिस्तान के नौ एयरबेस तबाह कर दिए। यह भारत की स्पष्ट नीति का परिचायक है कि निर्दोष नागरिकों और सेना पर हमले को कभी बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
“हर आतंकी हमले का जवाब मिलेगा”
अमित शाह ने कहा, “हमने यह संदेश दे दिया है कि भारत किसी भी आतंकी हमले का जवाब देगा — और वह भी ज्यादा सटीकता और ताकत के साथ। ऑपरेशन सिंदूर इसी नीति की मिसाल है।” उन्होंने आगे कहा, “पूंछ के लोगों ने बहादुरी का परिचय दिया है। मैं उनके धैर्य और साहस को नमन करता हूं।”
जम्मू-कश्मीर के विकास का सिलसिला जारी रहेगा
गृहमंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि पाकिस्तान की ओर से की गई कायराना हरकतें जम्मू-कश्मीर के विकास की रफ्तार को नहीं रोक सकतीं। उन्होंने कहा, “न विकास रुकेगा, न थमेगा। जम्मू-कश्मीर आगे बढ़ेगा और हर क्षेत्र में प्रगति करेगा। केंद्र सरकार यहां के हर नागरिक के साथ खड़ी है।”
शाह के इस दौरे का उद्देश्य न सिर्फ शोक-संतप्त परिवारों से एकजुटता प्रकट करना था, बल्कि दुनिया को यह संदेश देना भी था कि भारत अब आतंक के खिलाफ निर्णायक नीति के साथ खड़ा है। ऑपरेशन सिंदूर को मई की शुरुआत में पाकिस्तान की ओर से बढ़ती घुसपैठ, ड्रोन हमलों और नागरिकों को लक्षित करने की घटनाओं के जवाब में शुरू किया गया था।
संदेश साफ है : आतंकवाद का अंत तय है।