
पांच साल बाद भी नहीं पता लगा किसने और क्यों कराई थी नितेश सिंह बबलू की हत्या, एक तो था गिरधारी, दूसरा शूटर कौन?
वाराणसी। पाँच साल पहले 30 सितम्बर 2019 को ज़मीन संबंधित एक मामले में सदर तहसील में पेशी पर गये सारनाथ के मवइया निवासी ठेकेदार नितेश सिंह बबलू की बदमाशों ने दिनदहाड़े अंधाधुंध फ़ायरिंग कर हत्या कर दी थी। घटना के बाद पूरे प्रदेश में हड़कंम मच गया था। वारदात को अंजाम देने वाला एक शूटर गिरधारी विश्वकर्मा उर्फ कन्हैया उर्फ डॉक्टर 16 माह 15 दिन बाद लखनऊ में पुलिस मुठभेड़ में मारा गया। उसके बाद से अब तक पुलिस यह पता नहीं लगा सकी कि गिरधारी के साथ बाइक पर दूसरा शूटर कौन था? वारदात की साजिश रचने में कौन-कौन शामिल था? वारदात के पीछे की वजह क्या थी?
पांचवीं पुण्यतिथि पर जरूरतमंदों को पुत्र ने खिलाया भोजन, लोगों ने दी श्रद्धांजलि
सोमवार को नितेश सिंह बबलू की पांचवीं पुण्यतिथि मनाई गयी। सुबह उनके पुत्र ऋषभ सिंह अपने चाचा निलेश सिंह (डब्लू), अकलेश सिंह (टिपू) व साथियों संघ दशाश्वमेध घाट स्थित जरूरतमंदों को खिचड़ी खिलाया व गाड़ी से घूम-घूमकर गरीब, बेसहारा लोग को खाने को पैकेट वितरण किया। वहीं शाम में घर पर श्रध्दांजलि सभा के लिए कार्यक्रम रखा जिसमें सैकड़ो लोगों उनके चित्र पर पुष्प अर्पित कर व प्रसाद ग्रहण कर उनके आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की।
सारनाथ थाना क्षेत्र के लोहिया नगर कॉलोनी के रहने वाले प्रभावशाली नितेश सिंह बबलू का जुड़ाव ट्रांसपोर्ट, ठेकेदारी और अन्य व्यवसायों से था। सारनाथ थाने में नितेश की हिस्ट्रीशीट भी खुली हुई थी। 30 सितंबर 2019 की दोपहर जमीन संबंधी मुकदमे में पेशी के लिए नितेश सदर तहसील गये थे। तहसील परिसर से निकल कर वह अपने बुलेट प्रूफ वाहन में बैठने जा ही रहे थे तभी दो हार्डकोर अपराधियों ने दिनदहाड़े अंधाधुंध फायरिंग कर हत्या कर दी थी। मामले को लेकर अज्ञात बदमाशों के खिलाफ शिवपुर थाने में हत्या का मुकदमा दर्ज किया गया था। पुलिस की शुरुआती तफ्तीश में एक सफेदपोश के करीबी बदमाश गिरधारी विश्वकर्मा का नाम आया था।
कुछ दिनों बाद मामला दब गया था। एक नाटकीय घटनाक्रम में गिरधारी 11 फरवरी 2021 को दिल्ली में पकड़ा गया तो लखनऊ की पुलिस ने उसे कस्टडी रिमांड में लिया था। 15 फरवरी 2021 को कस्टडी रिमांड में ही एक दरोगा पर सिर से वार कर पिस्टल छीन कर उसने फायरिंग की तो जवाबी कार्रवाई में मारा गया था। उधर, नितेश के परिजन इलाहाबाद हाईकोर्ट की शरण में गए। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 15 दिसंबर 2022 को घटना की सीबीसीआईडी जांच का आदेश दिया। उसके बाद से अब तक इस मामले में कोई प्रगति नहीं हुई।
पुलिस ने कहा-हाईकोर्ट के आदेश की जानकारी नहीं: ऋषभ सिंह
नितेश सिंह के बेटे ऋषभ सिंह राजपूत ने बताया कि सीबीसीआईडी जांच के हाईकोर्ट के आदेश की प्रति फरवरी 2023 में सीजेएम कोर्ट में प्रस्तुत की गई। कोर्ट की ओर से नोटिस भेजा गया। शिवपुर थाने के पैरोकार को भी नोटिस रिसीव कराया गया।
उसके बाद से बस हम लोगों को तारीख ही मिल रही है और कोई कार्रवाई नहीं हुई। अप्रैल 2024 में शिवपुर थाने का जवाब मिला कि उन्हें हाईकोर्ट के आदेश की जानकारी नहीं है। अब सुनवाई की अगली तिथि एक अक्तूबर यानी कल है।